Tuesday, September 15, 2020

हरामखोर

 जवान जादूगरनी ने जैसे ही अपने जादू के करतब दिखाना शुरू किए, लोगों ने यह कहते हुए चीखना और चिल्लाना शुरु कर दिया कि यह जादू पुराना है, कुछ नया दिखाओ। जादूगरनी ने कहा- मैं एक ऐसा जादू तुमको दिखाने जा रही हूं, जो तुम्हारे होश उड़ा देगा। दिमाग पिघला देगा। क्या तुम इसके लिए तैयार हो? लोगों ने कहा- हम तैयार हैं। लोगों का उत्साह देखकर जादूगरनी ने कहा- अपनी आंखें बंद करो और जब तक मैं ना कहूं इनको मत खोलना। उसकी बात मानते हुए लोगों ने अपनी आंखें बंद कर लीं और वे एक प्रकार से अंधभक्त बन गए। जादूगरनी ने मुंह ही मुंह में कुछ शब्द बुद बुदाना आरंभ किए। कुछ देर बाद उसने अंधभक्तों से कहा-अपनी बंद आंखें खोलो। भक्तों ने कहा-वे नहीं खुल रही हैं। जादूगरनी ने कहा-ओह, मैं भूल गई, तब उसने थाली बजाना आरंभ की और साथ खड़े लोगों ने ताली।थाली और ताली की जुगलबंदी जब भगतों के कानों तक पहुंची तो उन्होंने अपनी आंखें खोल दीं। अब उनकी खुली आंखों ने जो देखा उसको देख कर सब हैरान रह गए। जादूगरनी ने जो दावा किया था वह उस ने सच कर दिखाया था। उनको विश्वास नहीं हो रहा था कि यह कैसे संभव हो सकता है कि समंदर के किनारे रहने वाले भक्तों को जादूगरनी ने चुटकी बजाते ही अपने जादू से बर्फ से ढकी पहाड़ियों पर पहुंचा दिया था, जहां से उनको छुपे आतंकी भी साफ नज़र आ रहे थे। लोगों ने जादूगरनी से पूछा- यह कौन सी जगह है और हम कहां हैं ? जादूगरनी ने कहा- तुम पीओके में हो।
लोगों ने कहा- हम पीओको में क्या कर रहे हैं? जादूगरनी ने कहा शासक बाबर के राज के मज़े ले रहे हो। किसी नए प्रश्न के आने से पहले जादूगरनी ने चेतावनी देते हुए लोगों से कहा- अगर इस से अधिक की तुमने मुझे से इच्छा रखी तो में बाबर के फौजियों को बुलाकर तुम्हारी वह पिटाई करवाऊंगी कि तुम्हें अपनी नानी, और फिर नानी की नानी याद आ जायेगी। शब्द पिटाई सुन कर कुछ लोग डर गए,उनकी निगाहों के सामने माबलंचिग जैसे केई मामले घूम गए, परंतु भीड़ में से एक व्यक्ति खड़ा हुआ और उसने चीखते हुए कहा- ऐ...! जादूगरनी, तूने यह अच्छा नहीं किया। हमने अपना पूरा जीवन समंदर को समर्पित किया है। और उसने भी हमें वह सब कुछ दिया है, जिसकी हम इच्छा कर सकते हैं। हमको अपना समंदर और प्रदेश प्यारा है, हम इन पहाड़ियों का क्या करेंगे, हमको वापस वहीं पहुंचाओ, जहां के हम वासी हैं। जादूगरनी ने कहा- ऐसा संभव नहीं है। अधिकृत पहाड़ियां भी हमारी हैं जिन को हम किसी भी स्थिति में नहीं छोड़ सकते। व्यक्ति ने क्रोधित होते हूए कहा- 
तू हरामखोर है। जादूगरनी ने पूछा, यह हरामखोर क्या होता है व्यक्ति ने कहा- जिस थाली में खाती है उसी में छेद करती है यही हरामखोरी है। इतना सुनकर जादूगरनी शोर मचाने लगी और अंधभक्तों को उकसाते हुए कहने लगी देखो-देखो यह देश द्रोही मुझे गाली दे रहा है। देश की बेटी का अपमान कर रहा है। नारी सम्मान की बातें करने वाला नारी को खुलेआम बेइज्जत कर रहा है। इतना सुनकर कुछ भोंपू टायप के लोग जोर-जोर से चीखने लगे...... शर्म करो शर्म करो।
भीड़ में से एक दूसरा आदमी निकल कर सामने आया और उसने जादूगरनी से कहा- हमें बताओ जादू करते समय तुमने ऐसे कौन से शब्द कहे थे। जो हम इस स्थिति तक पहुंच गए। जादूगरनी ने कहा- वे जादुई शब्द थे राम मंदिर, मुसलमान, आतंकवाद,गद्दार, राष्ट्रद्रोह, और निपोटिज़्म। व्यक्ती ने चीखते हुए कहा- यह शब्द जादू नहीं कर सकते, यह शब्द तो किसी राजनीतिक पार्टी का एजेंडा लगते हैं। तुम इन शब्दों से जादू नहीं कर सकतीं। जादूगरनी बिगड़ गई और कहने लगी मुझे इन्हीं शब्दों से जादू करना सिखाया गया है।इन शब्दों ने वह कर दिखाया है जिसकी तुम कभी कल्पना भी नहीं कर सकते थे। इतना सुनकर कई लोगों ने एक साथ कहा तू झूटी है। 
जादूगरनी ने कहा- मैं झूठी नहीं पागल हूं, यकीन ना आए तो मूवी माफिया से पूछ लो। जिसने मुझे 2008 में पागल 2016 में डायन 2020 में स्टॉकर, एवं खिसकी हुई घोषित कर रखा है।
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शाहिद हसन शाहिद
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