खबर यह है कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना जो छोटे और मझोले किसानों को ₹6000 सालाना की वित्तीय मदद देने के लिए दिसंबर 2018 में शुरू हुई थी। वह आज कल चर्चा में है। तमिल नाडु कृषि विभाग की जांच में सामने आया है की लाभार्थियों में 5.5 लाख से ज्यादा नकली नाम इस में शामिल हैं। जिससे राजकोष को लगभग ₹110 करोड़ का चूना लगा है।
लोगों का कहना है की कृषि विभाग के भ्रष्ट अधिकारियों ने एक सिंडिकेट बनाया और नकली दस्तावेजों द्वारा अयोग्य लोगों को योजना के साथ जोड़ दिया। यह सारी कवायद ऑनलाइन होना थी जिसमें झूठे दस्तावेज और पासवर्ड इस्तेमाल किए गए। योजना की शर्तों के अनुसार किसानों के पास 2 हेक्टेयर तक जमीन होना चाहिए व परिवार से एक ही व्यक्ति इस योजना का लाभ ले सकता है। नौकरशाही ने ऐसा ना करके योजना का दायर बढ़ा कर एक घर से 6 लोगों तक पहुंचा दिया और ग्रेटर चेन्नई के आलीशान बंगलो में रहने वालों को भी स्कीम का लाभ पहुंचाया जिनके पास कृषि भूमि थी ही नहीं। कुछ ऐसा ही हाल दूसरे प्रदेशों को का भी है जहां बड़े पैमाने पर आयोग्य लोगों को उपरोक्त योजना में शामिल किया गया है।
कुछ विद्वानों का कहना है कि यह खुली धोखाधड़ी है। कुछ का विचार है कि यह राष्ट्र विरोधी कार्य है। जबकि प्रधानमंत्री कहते हैं कि हमारे देश में गरीबों की बात तो बहुत हुई है, लेकिन गरीबों के लिए जितना कार्य पिछले 6 साल में हुआ है, उतना कभी नहीं हुआ। हर वह क्षेत्र, हर वह सेक्टर जहां गरीब, पीड़ित, शोषित, वंचित, अभाव में था, सरकार की योजनाएं उस का संबल बनकर आयीं।
मैं सोचता हूं कि ऐतराज करने वाले लोग यह क्यों नहीं समझते कि अब गरीब की परिभाषा बदल गई है जिसको हम पहले गरीब मानते थे वह तो धीरे धीरे लुप्त होते जा रहे हैं। प्रधानमंत्री ठीक कह रहे हैं। देश की अर्थव्यवस्था जिस हाल में या जिन कारणों से अस्वस्थ है, उसमें सबसे ज्यादा बुरी हालत मध्य वर्गी समाज की है, जो देखते ही देखते गरीब हो गया। वह रहता तो कोठियों में हैं, जो उसने कभी अपने बुरे वक़्त में पहले बना ली थीं, परंतु अब उसके पास अपनी कमीज़ का सफेद कॉलर बचाने के लिए ₹6000 धोखे से लेने के अतिरिक्त आत्महत्या का ही विकल्प रह जाता है। अंततः मैं इतना ही कहूंगा की हर चर्चा को जुमले बाज़ी कहकर गरीबों के लिए सरकार की सद्भावनाओं का मज़क ना उड़ाएं और ना ही कीचड़ उछालें सच्चाई भी तलाश कर लिया कीजिए।
शाहिद हसन शाहिद
70093-16991
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अपने विचार Blogspot comments box मैं अवश्य लिखें।
Jai jawaan jai kisaan.. Very nice
ReplyDeleteGrear 👌🏻
ReplyDeletewell described...
ReplyDeleteWaah bhut umda khayal
ReplyDeleteGood
ReplyDeleteWah wah
ReplyDeleteGood very good......
ReplyDeleteBeautiful!
ReplyDeleteGreat
Love and Regards
Beautiful!
ReplyDeleteBeautiful!
ReplyDeleteWah
ReplyDeleteLajwaab hai
ReplyDeletewah
ReplyDeleteGreat!!!
ReplyDeleteKeep it up!
Regards
Agar. Her ensaan k andar etnee gahree soch hotee to fir Desh bhahut tarraqqee kar jaata...yahan to sab ek doosrey ke.kammeeyaan kojtey hain.k Kahan. _ minus point meley wahee geera do. Ye gandeee soch. He Desh ke oonnattee Mey rookaawat hai...
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